प्रदेश कांग्रेस ने स्पष्ट किया है कि पार्टी अपने प्रभाववाली सीटें सहयोगी दल एनसीपी के लिए नहीं छोड़ेगी। प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष माणिकराव ठाकरे ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि मुम्बई और राज्य में जिन सीटों पर कांग्रेस की स्थिति मजबूत है उन सीटों पर पार्टी अपना ही उम्मीदवार खड़ा करेगी, ऐसी सीटें एनसीपी के लिए नहीं छोड़ेगी। जहां एनसीपी की स्थिति मजबूत है वे सीटें एनसीपी को दी जाएंगी भले ही वहां सिटिंग विधायक कांग्रेस का ही क्यों न हो। गौरतलब है कि डीलिमिटेशन के बाद मुम्बई और प्रदेश में कुछ सिटिंग एमएलए की सीट समाप्त हो गई है। मुम्बई में एनसीपी विधायकों में बशीर पटेल की उमरखाड़ी, नवाब मलिक की नेहरू नगर सीट समाप्त हो गई है। जिन सीटों में ये सीटें विलीन हो गई हैं, वहां कांग्रेस का वोट बैंक मजबूत है। जैसे मुम्बादेवी और कालीना में समाहित सिटिंग विधायकों की सीट पर अब कांग्रेस का दावा मजबूत है। ठाकरे ने पत्रकारों को बताया कि पार्टी आलाकमान से हरी झंडी मिलते ही एनसीपी से गठबंधन और सीटों के बंटवारे पर चर्चा शुरू हो जाएगी। मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण इसी संबंध में दिल्ली गए हुए हैं और उनके लौटने के बाद स्थिति स्पष्ट होगी। ठाकरे ने कहा कि एनसीपी से गठबंधन को लेकर पार्टी कार्यकर्ताओं की मिश्रित राय है। संपर्क अभियान में कुछ लोगों ने गठबंधन के पक्ष में और कुछ ने अकेले लड़ने पर बल दिया।
Monday, July 27, 2009
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