Tuesday, July 9, 2013

जीती रकम को ज्यादातर प्रॉपर्टी में निवेश



प्रॉपटी के दाम इतनी तेजी से बढ़ रहे हैं कि अब सट्टेबाज भी इसमें खूब निवेश कर रहे हैं। मुंबई क्राइम ब्रांच ने तीन दिन पहले शोभन मेहता नामक जिस बुकी को गिरफ्तार किया है, उसने पूछताछ में बताया कि उसने सट्टे से जीती रकम को ज्यादातर प्रॉपर्टी में निवेश किया है। क्राइम ब्रांच के एक अधिकारी के अनुसार, मालाड का एक बड़ा बिल्डर है। शोभन ने अपनी रकम उसके यहां निवेश की हुई है। शोभन अर्जुन नाम से बुक चलता था। शोभन ने पूछताछ में बताया कि उसके ज्यादातर पंटर या तो डायमंड से जुड़े बिजनेसमैन हैं या रियल स्टेट बिजनेस से जुड़े लोग।

शोभन मेहता का नाम तब सामने आया था, जब सीनियर इंस्पेक्टर नंद कुमार गोपाले ने 14 मई को कालबादेवी में सेठ अग्यारी लेन पर स्थित एक फ्लैट में छापा मारा था। क्राइम ब्रांच ने तब रमेश व्यास सहित तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था। छानबीन में पता चला कि रमेश व्यास ने इंडिया के जिन तीस बुकीज की लाइन पाकिस्तान के बुकीज को कनेक्ट करके दी थीं, उन्हीं लाइनों वाले कई बुकीज से शोभन की भी लाइनें कनेक्टेड थीं। शोभन जिन लोगों के संपर्क में था, उनमें एक था राकेश गंगवाल उर्फ राकेश जयपुर भी।

इंस्पेक्टर दिलीप फुलपगारे, नितिन पाटील की टीम ने राकेश जयपुर को सोमवार को अरेस्ट किया। क्राइम ब्रांच सूत्रों के अनुसार, रमेश व्यास ने राकेश जयपुर को कुल पांच पाकिस्तानी बुकीज की लाइनें दी हुई थीं। इनमें बबलू, मास्टर सलमान, यूबीएल जावेद तीन नाम हैं, जबकि दो पाकिस्तान बुकीज की लाइन नंबरों में लिखी हुई थीं- 100 और 26 । खास बात यह है कि राकेश जयपुर की एक लाइन संजय जयपुर के नाम रजिस्टर्ड थी। यह संजय जयपुर राकेश जयपुर का नौकर है। जबकि एक संजय जयपुर उस पवन जयपुर का भाई है, जो दारा सिंह के बेटे विंदू से भी जुड़ा रहा और पाकिस्तान अंपायर असद रऊफ से।

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